Surya Grahan 2020 : देश दुनियां की निगाहे 21 जून 2020 के सूर्यग्रहण (SuryaGrahan2020)पर है। इस बार का सूर्यग्रहण बेहद खास होने वाला है। जबकि कुछ लोगों की पिछली सदी की 25 वर्ष पुरानी, 24 अक्टूबर 1995 की यादेें ताजा हो जाएंगी जब पूर्ण सूर्य ग्रहण के कारण दिन में ही अंधेरा छा गया था, पंछी अपने घोंसलों की ओर लौट आए थे और हवा अचानक शीतल हो गई थी। चांद की ओट से निकली सूरज की मुद्रिका तब पूरे विश्व में चर्चा का विषय बनी थी।
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21 जून 2020 को होने वाली इस अद्भुत, खूबसूरत और प्रकृति के रोमांच का अनुभव कराने वाली धटना की शुरूआत 5 जून को ही चंद्रग्रहण के साथ हो गई है। हिमाचल के साथ राजस्थान (Rajasthan) में इसे सबसे अच्छे रूप में घड़साना (Gharsana)एवं सूरतगढ़ (Suratgarh) में देखा जा सकेगा जहां सूर्य का मात्र एक प्रतिशत हिस्सा ही नजर आएगा और कंगन जैसी आकृति साफ नजर आएगी।
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Surya Grahan 2020 : पुरानी पारंपरिक मान्यता
हमारे देश में ग्रहण का पालन करने की पुरानी पारंपरिक मान्यता है। भारत में सूर्य ग्रहण हो या चंद्र ग्रहण इसका पालन पारंपरिक रीति रीवाज से ही करना अनिवार्य है। 21 जून, 2020 को सूर्य ग्रहण प्रात: 9:26 बजे से अपराह्न 3:28 तक रहेगा। बताया जा रहा है कि इस सूर्य ग्रहण में दिन में अंधेरा ज्यादा होगा इसलिए देशभर में कई जगहों पर दिन में तारे दिखाई देंगे। ग्रहण लगने से पहले सूतक कल लगता है इस सूर्य ग्रहण में सूतक काल शनिवार यानी 20 जून को रात 09:15 बजे से लग जाएगा।
जैसा की आप सब जानते ही है कि सूतक काल से ही सभी मंदिर और धार्मिक स्थल बंद किये जायेंगे। ग्रहण काल में गर्भवती महिला को भी खुद का और अपने बच्चे का खास ख्याल रखना चाहिए। तो आईये देखते हैं सूतक काल से ग्रहण खत्म होने तक किन बातों का खास ध्यान रखना चाहिए, क्या चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए?
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Surya Grahan 2020 : सूर्य ग्रहण में क्या ना करें
1. सूर्य ग्रहण के दौरान शुभ या नया कार्य नहीं करना चाहिए।
2. ग्रहण काल में भोजन पकाना या भोजन नहीं खाना चाहिए। यदि आपने भोजन किया तो जितने अन्न के दाने खाता है, उतने वर्षों तक नरक में वास कर पड़ता है। बूढ़े, बालक और रोगी एक प्रहर पूर्व खा सकते हैं।
3. मान्यताओ के अनुसार गर्भवती महिला हो कुछ सब्जी काटना, कपडे सिलना या पिलना नहीं चाहिए, इससे होने वाले बच्चे के शारीरक दोष होने के संभावना होती हैं।
4. ग्रहण के समय तेल लगाना, जल पीना, केश बनाना, संभोग करना, मंजन करना, वस्त्र नीचोड़ना, ताला खोलना आदि वर्जित हैं।
5 . ग्रहण के दौरान सोने नहीं चाहिए ऐसे करने से व्यक्ति रोगी होता है। मालिश या उबटन लगाने से कुष्ठ रोग और स्त्री प्रसंग से अगले जन्म में सूअर की योनि मिलती है।
6. ग्रहण के दिन पत्ते, लकड़ी और फूल नहीं तोड़ना चाहिए।
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Surya Grahan : सूर्य ग्रहण में क्या करें
1. ग्रहण समाप्त हो जाने पर स्नान करके उचित व्यक्ति को दान करने का विधान है।
2. ग्रहण के समय गुरुमंत्र, इष्टमंत्र अथवा भगवन्नाम जप अवश्य करें, न करने से मंत्र को मलिनता प्राप्त होती है।
3. ग्रहण के बाद पुराना पानी और अन्न फेक देना चाहिए। नया भोजन पकाकर खाये और ताजा पानी भरकर पिए।
4. सूर्य ग्रहण पूरा होने पर उसका शुद्ध बिम्ब देखकर ही भोजन करना चाहिए।
5. ग्रहण के समय गायों को घास, पक्षियों को अन्न, जरूरत मंदों को वस्त्र दान देने से अनेक गुना पुण्य प्राप्त होता है।