PM Kisan : नई दिल्ली। किसानों (Farmers) की आमदनी 2022 तक दोगुनी करने के लक्ष्य को हासिल करने को लेकर आश्वस्त (Union Minister of State for Agriculture and Farmers Welfare) केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी (Kailash Chaudhary) का कहना है कि मोदी सरकार (Modi Government) द्वारा शुरू की गई किसान केंद्रित योजनाएं अब धरातल पर उतर रही हैं और किसानों(Farmers Scheme) को इन योजनाओं का लाभ मिल रहा है।
PM Kisan : किसानों (Farmers) की आमदनी (Income) 2022 तक दोगुनी
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं के सफल कार्यान्वयन से किसानों (Farmers) की आमदनी (Income) 2022 तक दोगुनी करना सुनिश्चित होगा।
कैलाश चौधरी ने बुधवार को बातचीत में कहा कि पहले (पूर्व की सरकारों के शासन काल में) किसानों के लिए जो योजनाएं बनाई जाती थीं, उनका लाभ किसानों तक नहीं पहुंच पाता था, लेकिन अब ऐसा नहीं है, और किसानों को तमाम योजनाओं का पूरा-पूरा लाभ मिल रहा है।
एक दिन पहले चौधरी ने दावा किया था कि 2022 तक किसानों (Farmers income) की आमदनी दोगुनी करने के लक्ष्य को लेकर वह आश्वस्त हैं।
इस बाबत उनसे पूछा कि वह किस आधार पर यह दावा करते हैं कि किसानों की आमदनी 2022 तक दोगुनी हो जाएगी?
कृषि राज्यमंत्री ने कहा, निर्धारित समय से पहले इस लक्ष्य को हासिल किया जाएगा, क्योंकि (PM) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने यह लक्ष्य तय किया है और किसान भी इसको लेकर उत्साहित हैं, क्योंकि उनको लगता है कि पहली बार देश में ऐसा कोई प्रधानमंत्री (PM) आया है, जो किसानों की चिंता कर रहा है।
पहले की सरकारें किसानों के नाम पर राजनीति करती थीं, किसानों के नाम पर योजनाएं बनाती थीं, लेकिन वे योजनाएं धरातल पर नहीं उतरती थीं।
उन्होंने कहा, 2014 से पहले कृषि का बजट 25,000-30,000 करोड़ रुपये से ज्यादा कभी नहीं रहा, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने इस बजट में काफी वृद्धि की है।
पिछले साल कृषि का बजट 1,37,000 करोड़ रुपये था, जिसे बढ़ाकर इस साल 1,50,000 करोड़ रुपये से ज्यादा कर दिया गया है। पहले जहां पांच साल के दौरान कृषि पर खर्च होता था, उतना अब एक साल में होने लगा है।
इससे जाहिर है कि प्रधानमंत्री किसान (PM Kisan) के लिए कुछ करना चाहते हैं और किसान भी उतनी ही ताकत के साथ मेहनत कर रहे हैं।
(PM Kisan Samman Nidhi Scheme) प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान), प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (पीएमएफबीवाई)(PM FASAL bima yojana) और मृदा स्वास्थ्य कार्ड स्कीम समेत कतिपय केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई कतिपय योजनाओं का जिक्र करते हुए कैलाश चौधरी ने कहा कि इन योजनाओं का लाभ किसानों को मिल रहा है और इनके परिणाम आने लगे हैं।
किसानों की आमदनी दोगुनी करने के लिए केंद्र सरकार तीन प्रमुख मसलों पर काम कर रही है, जिनमें कृषि की लागत कम करना, पैदावार बढ़ाना और किसानों को उनकी उपज का उचित व लाभकारी मूल्य दिलाना शामिल हैं।
उन्होंने कहा कि हाल ही में प्रधानमंत्री (PM) ने उत्तर प्रदेश के चित्रकूट से 10,000 नए किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ) बनाने की योजना का आगाज किया, जिसका मकसद खेती की लागत कम करने के साथ-साथ किसानों को उनके उत्पादों को लाभकारी दाम दिलाना है।
उन्होंने कहा कि जब देशभर में 10,000 नये एफपीओ (Farmers FPO) बनेंगे तो किसानों को उनके उत्पादों को लाभकारी मूल्य मिलेगा, क्योंकि किसान उत्पादक के साथ-साथ व्यापार भी करेंगे और अपने उत्पादों का मूल्य खुद तय करेंगे।
कैलाश चौधरी ने कहा, एफपीओ कृषि के क्षेत्र में क्रांतिकारी कदम साबित होगा। किसान अब तक अपने उत्पादों को बेचने के लिए मंडी में जाते थे, जहां वे खुद अपने उत्पादों का भाव तय नहीं करते थे बल्कि व्यापारी तय करते थे। लेकिन अब एफपीओ बनने पर वे अपने उत्पादों की प्रोसेसिंग और पैकेजिंग करके उनका दाम भी तय करेंगे।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री (PM) ने पहली बार फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) (MSP) लागत का डेढ़ गुना किया। उनसे जब पूछा गया कि एमएसपी (MSP) का लाभ सभी किसानों को नहीं मिल पाता है, क्योंकि सरकार गेहूं और धान के अलावा अन्य फसलों की खरीद बड़े पैमाने पर नहीं करती है। इस पर उन्होंने कहा कि इसीलिए एफपीओ बनाए जा रहे हैं कि किसानों को सभी फसलों का लाभकारी दाम मिल सके।
कृषि राज्य मंत्री ने बताया कि राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण कार्यालय (एनएसएसओ) के आंकड़े बताते हैं कि 2013-14 में एक किसान परिवार की औसत मासिक आय 6,426 रुपये थी, जो 2016-17 में बढ़कर 8,167 रुपये हो गई।
उन्होंने कहा कि पीएम-किसान (PM Kisan) के सभी लाभार्थियों को किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) (Kisan Credit Card) देने का फैसला लेने से किसानों के लिए सस्ता कर्ज लेना आसान हो गया है।