Lab Grown Green Diamond Jewelery Exhibition : फ्री एंट्री के साथ खरीदने का भी अवसर
जयपुर। होटल ग्रेंड उनियारा (Hotel Grand Uniera) में लैब ग्रोन ग्रीन डायमंड ज्वैलरी (Lab Grown Green Diamond Jewelery) की दो दिवसीय प्रदर्शनी ( Exhibition) का शनिवार को भव्य शुभारंभ हुआ। काव्य इम्पैक्स (Kavya Impex) व एमोर के सौजन्य में आयोजित एक्जीबिशन का आगाज नन्हीं बालिका काव्या अग्रवाल व एसके सोनी हॉस्पीटल (SK Soni Hospital) के एमडी एसके सोनी ने फीता काटकर किया।
काव्या इम्पैक्स (Kavya Impex) के डायरेक्टर ललित अग्रवाल ने बताया कि विजिटर की सुविधा के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की सुविधा भी दी गई है। ऑन दा स्पॉट विजिटर पास भी जारी किए जा रहे हैं।
उन्होंने बताया कि सुबह 10 से सांय 6 बजे तक पहले दिन 500 से अधिक विजिटर ने (Diamond Jewelery) डायमंड ज्वैलरी की खूबियां जानी। करीब दो दर्जन से अधिक विजिटर ने ज्वैलरी (Jewelery) खरीदी।
ललित चौधरी ने बताया कि जयपुर में लैब ग्रोन ग्रीन डायमंट ज्वैलरी की प्रदर्शनी पहली बार आयोजित की जा रही है। इसमें लैब ग्रोन ग्रीन डायमंड (Lab Grown Green Diamond ) से निर्मित होने वाली हर तरह की ज्वैलरी शोकेस की गई है।
ललित चौधरी ने बताया कि आज की तारीख में भारत में जितना भी डायमंड बनता है उसका 70 प्रतिशत डायमंड अमेरिका में जाता है। इसका सबसे बड़ा बाजार यूएस है। ये पिछले दो सालों से अमेरिका में इस इकोफेंडली डायमंड की चमक बढ़ती जा रही है। ये डायमंड सोलर और इलेक्ट्रि सिटी से इसे बनाया जाता है।
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नेचुरल डायमंड से कितना अलग
ललित चौधरी ने जमीन से निकलने वाले नेचुरल और लैब में बनने वाले डायमंड में फर्क बताते हुए कहा कि लैब ग्रीन डायमंड एक तरह से टेस्ट टयूब बेबी की तरह है, जैसे टेस्टर टयूब बेबी को उन्हीं परिस्थितियों का निर्माण करके बनाया जाता है वैसे ही इस ग्रीन डायमंड को भी बनाया जाता है। इसे पूरे 1500 डिग्री तापमान में बनाया जाता है। ये एक पूरे साइंस के तहत ही बनाया जाता है।
वो कहते हैं कि अगर दोनों डायमंड आपके हाथ में रख दिए जाएं तो आप बता नहीं सकते हैं कि कौन सा असली है और कौन सा नकली। यही नहीं जौहरी भी आसानी से नहीं बता सकता कि दोनों में क्याै अंतर है।
बड़े पैमाने पर मिलेगा रोजगार
ललित चौधरी कहते हैं कि आज नैचुरल डायमंड इंडस्ट्रीौ से जितने लोग जुड़े हैं अगर ये इंडस्ट्री आगे बढ़ती है तो इससे और रोजगार पैदा होगा। 1 लाख करोड़ का माइन डायमंड आता है तो 20 हजार करोड़ का कट एंड पेस्टग वैल्यू लग जाता है। मतलब 1 लाख 20 हजार करोड़ में 80 हजार करोड़ का एक्सापोर्ट होता है। लेकिन अगर इसमें 1 लाख करोड़ का बनता है तो पूरा एक्स पोर्ट होता है। अभी हर रोज 5 लाख लोग इसमें काम कर रहे हैं। मुझे लगता है कि 10 लाख लोग इसमें काम करने लगेंगें।
लैब ग्रीन डायमंड का प्रदेश में पहला शोरूम जल्द
लैब ग्रीन डायमंड ज्वैलरी का पहला शोरूम जुलाई के प्रथम पखवाड़े में ही जयपुर के सुदर्शनपुरा इंडस्ट्रीयल एरिया में खुलने जा रहा है। काव्य इम्पैक्स व एमोर के इस शोरूम पर 14 कैरेट गोल्ड में तैयार ग्रीन डायमंड की ज्वैलरी मिलेगी। ग्राहक शोरूम पर 20 हजार से 20 लाख रुपए तक की हॉलमार्क सर्टिफाइड ग्रीन डायमंड ज्वैलरी खरीद सकेंगे। एमोर के एमडी अभिषेक डालमिया ने बताया कि राजस्थान के अन्य बड़े शहरों में भी आने वाले समय में फ्रेंचाइजी मोड पर ग्रीन डायमंड ज्वैलरी के शोरूम खोले जाएंगे।
समापन सत्र में पूर्व मंत्री अरूण चतुर्वेदी होंगे शामिल
दो दिवसीय डायमंड ज्वैलरी शो के समापन सत्र में पूर्व मंत्री अरूण चतुर्वेदी व सांसद रामचरण वोहरा शामिल होंगे।
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