बीकानेर। स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय (Swami Keshwanand Rajasthan Agricultural University) के अनुसंधान निदेशक डाॅ. पी. एस. शेखावत ने कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने के लक्ष्य की प्राप्ति में खेतीहर महिलाओं की भूमिका भी महत्वपूर्ण हैं। ऐसी महिलाएं उत्पादों के मूल्य संवर्धन एवं विपणन की ओर भी ध्यान दें तथा अतिरिक्त लाभ कमाएं।
डाॅ. सिंह ने गृह विज्ञान महाविद्यालय के खाद्य एवं पोषण विभाग द्वारा आयोजित ‘महिलाओं में उद्यमिता विकास एवं आय उपार्जन’ विषयक प्रशिक्षण के समापन समारोह को संबोधित करते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा कि महिलाएं इन प्रशिक्षणों में पूर्ण मनोयोग से भागीदारी निभाएं तथा नया सीखने का प्रयास करें। अतिरिक्त निदेशक अनुसंधान (बीज) डाॅ. एन. के. शर्मा ने कहा कि महिलाएं समूह बनाकर कार्य करें। गृह विज्ञान महाविद्यालय की अधिष्ठाता डाॅ. विमला डुंकवाल ने बताया कि राष्ट्रीय कृषि विकास योजना के तहत आयोजित पांच दिवीय प्रशिक्षण में तीस महिलाओं ने भाग लिया।
समापन के अवसर पर उत्पादों से संबंधित प्रतियोगिताएं आयोजित हुईं। डाॅ. दीपाली धवन एवं डाॅ. सुनीता लढ्ढा ने निर्णायक की भूमिका निभाई। प्रतियोगिता के दौरान खजूर एवं करौंदा के मूल्य संवर्धित उत्पादों प्रदर्शन एवं विपणन के लिए रखे गए। प्रतियोगिता में विंध्या, प्रिया एवं संगीता ने क्रमशः प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान प्राप्त किया। वहीं मंजू एवं मुन्नी देवी को सांत्वना पुरस्कार दिया गया। इस दौरान सभी प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र भी वितरित किए गए।
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