चंडीगढ़। खालिस्तानी आतंकी गुरुपतवंत सिंह पन्नू व निज्जर के खिलाफ भारत में राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने कार्रवाई करते हुए पंजाब के अमृतसर और चंडीगढ़ में घर और सपंतियों को जब्त कर जांच शुरु कर दी है।
एनआईए ने चंडीगढ़ में पन्नू के घर के बाहर जब्ती का नोटिस चस्पा कर दिया है। खालिस्तानी आतंकी गुरुपतवंत सिंह पन्नू खालिस्तानी समर्थक संगठन सिख फॉर जस्टिस का संस्थापक है। पन्नू अक्सर भारत के खिलाफ बयानबाजी करता रहता है। जुलाई 2020 में भारत सरकार ने पन्नू को यूएपीए के तहत् आतंकवादी घोषित कर दिया था।
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एनआईए मोहली अदालत के आदेश पर पर हुई कार्रवाई
एनआईए मोहली अदालत के आदेश पर खालिस्तानी नेता हरदीप सिंह निज्जर के घर पर कार्रवाई की गई। वहीं जालंधर जिले के भारसिंहपुरा गांव में भी निज्जर के घर के बाहर संपति जब्ती का नोटिस चस्पा किया गया है।
चंडीगढ़ में खालिस्तानी आतंकी गुरुपतवंत सिंह पन्नू के घर नोटिस चस्पा
खालिस्तानी आतंकी गुरुपतवंत सिंह पन्नू के चंडीगढ़ के सेक्टर 15 स्थित आवास के बाहर संपति जब्ती का नोटिस चस्पा किया गया है। इस नोटिस पर लिखा है, मकान नंबर 2033 के 1/4 सेक्टर 15सी, चंडीगढ़, गुरुपतवंत सिंह पन्नू के स्वामित्व में, जो एनआईए मामले आरसी—19/2020/एनआईए/डीएलआई में ‘घोषित अपराधी’ है, गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम की धारा 33 5 के तहत् राज्य द्वारा जब्त कर लिया गया है। इसी तरह का नोटस एनआईए की और से अमृतसर में खालिस्तानी आतंकी गुरुपतवंत सिंह पन्नू के पैतृक गांव खानकोट में कृषि भूमि पर नोटिस चस्पा किया गया है।
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कृषि भूमि जब्त
केंद्रीय जांच एजेंसी ने 2020 में दर्ज एक आतंकवादी मामले के संबंध में गांव में पन्नू की 46 कनाल कृषि भूमि जब्त कर ली है। पन्नू के पिता मोहिंदर सिंह पन्नू विभाजन से पहले तरनतारन के पट्टी उपमंडल के नाथू चक गांव के निवासी थे। विभाजन के बाद परिवार अमृतसर के खानकोट गांव में स्थानांतरित हो गया।
गुरपतवंत सिंह पन्नू अमेरिका स्थित अलगाववादी समूह सिख फॉर जस्टिस (एसएफजे) के संस्थापकों में से एक हैं और अमेरिका, कनाडा और ब्रिटेन में सिखों के लिए एक अलग राज्य, जिसे वे खालिस्तान कहते हैं, की सक्रिय रूप से पैरवी करते हैं।
जुलाई 2020 में, पन्नू को केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा आतंकवादी नामित किया गया था और दो महीने बाद, सरकार ने कड़े गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम की धारा 51 ए के तहत उसकी संपत्तियों की कुर्की का आदेश दिया।
पन्नू भारत के खिलाफ अभियान चला रहा है और अपने गृह राज्य पंजाब में सिख युवाओं को आतंकवाद में शामिल होने के लिए प्रेरित कर रहा है। वह तथाकथित खालिस्तान जनमत संग्रह के एक प्रमुख आयोजक रहे हैं, जिन्होंने दुनिया भर के सिखों को इस बात पर मतदान करने के लिए आमंत्रित किया कि क्या पंजाब को धर्म के आधार पर एक स्वतंत्र राष्ट्र बनना चाहिए।
उन्होंने कनाडा स्थित हरदीप सिंह निज्जर के साथ भी मिलकर काम किया, जिनकी हत्या कनाडा और नयी दिल्ली के बीच राजनयिक गतिरोध के केंद्र में रही है।
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