कैलादेवी झील का बाड़ा मंदिर का विकास योजना बनाकर करेंगे – देवस्थान मंत्री

Development of Bada Temple of Kaila Devi Mandir Jheel Ka Bada will be done by making a plan - Joraram Kumawat

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जयपुर। राजस्थान के देवस्थान मंत्री जोराराम कुमावत ने मंगलवार को विधानसभा में कहा कि बयाना विधानसभा क्षेत्र में कैलादेवी झील का बाड़ा मंदिर जनमानस के लिए आस्था का केंद्र है। उन्होंने आश्वस्त किया कि इस मंदिर के विकास को लेकर योजना तैयार की जाएगी।

देवस्थान मंत्री प्रश्नकाल के दौरान सदस्य द्वारा इस संबंध में पूछे गए पूरक प्रश्नों पर जवाब दे रहे थे।

इससे पहले विधायक डॉ. ऋतु बनावत के मूल प्रश्न के लिखित जवाब में देवस्थान मंत्री ने विधानसभा क्षेत्र बयाना में राजस्थान सार्वजनिक प्रन्यास अधिनियम, 1959 के तहत 16 मंदिरों एवं पंजीकृत प्रन्यास की सूची सदन के पटल पर रखी। उन्होंने कहा कि देवस्थान विभाग द्वारा प्रबंधित एवं नियंत्रित मंदिरों में दो राजकीय आत्मनिर्भर मंदिर एवं एक सुपुर्दगी श्रेणी का मंदिर है।

देवस्थान मंत्री ने बताया कि राजकीय आत्मनिर्भर श्रेणी मंदिर श्री कैलादेवी झील का बाड़ा बयाना की कोई कृषि भूमि नहीं है। व्यावसायिक सपंदाओं में मंदिर की 9 दुकानें एवं मेला क्षेत्र में अस्थायी चबूतरे हैं। मंदिर की कोई आवासीय संपदा नहीं है। दूसरा राजकीय आत्मनिर्भर श्रेणी मंदिर उषा किला बयाना की अचल संपदा में मंदिर परिसर है।

उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त देवस्थान विभाग द्वारा नियंत्रित राजकीय सुपुर्दगी श्रेणी का एक मंदिर श्री बृजदूल्हे जी है। इसकी अचल संपदा में मंदिर परिसर है।

देवस्थान मंत्री ने कहा कि मंदिर श्री कैला देवी झील का बाड़ा बयाना में मेलों में अस्थायी दुकानों की नीलामी से विगत 5 वर्ष में कुल 1 करोड़ 61 लाख रूपये से अधिक की आय हुई है। जिसके अंतर्गत वर्ष 2019-20 में 46 लाख 36 हजार 232 रूपये, वर्ष 2020-21 (कोविड के कारण मेले का आयोजन नहीं), वर्ष 2021-22 में 36 लाख 67 हजार 50 रूपये, वर्ष 2022-23 में 61 लाख 11 हजार 268 रूपये एवं वर्ष 2023-24 में 17 लाख 27 हजार 682 रूपये की राशि (दिसम्बर 2023 तक) आय के रूप में प्राप्त हुई है।

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