राजस्थान में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी परीक्षा में बैठेंगे 25 लाख परीक्षार्थी

25 lakh candidates will appear in Peon employee exam in Rajasthan

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प्रदेश के 38 जिलों में 19 से 21 सितंबर को होगी परीक्षा, करीब 25 लाख परीक्षार्थी लेंगे हिस्सा

बीकानेर। कर्मचारी चयन बोर्ड अध्यक्ष एवं पूर्व मेजर जनरल आलोक राज ने कहा कि आगामी 19-21 सितंबर को बीकानेर समेत राज्य के 38 जिलों में आयोजित होने वाली चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी परीक्षा निष्पक्षता से संपन्न करवाई जाएगी। परीक्षा तैयारियों का जायजा लेने बीकानेर आए आलोक राज संबंधित अधिकारियों के साथ बैठक लेने के बाद मीडिया से बातचीत कर रहे थे।

उन्होंने बताया कि इस परीक्षा में करीब 25 लाख परीक्षार्थी बैठेंगे। उन्होंने बताया कि विभिन्न जिलों में जाकर वे परीक्षा तैयारियों का जायजा ले रहे हैं।

डमी कैंडिडेट और पेपर लीक से बचने के लिए किए हैं बहुत से कारगर उपाय

आलोक राज ने बताया कि डमी कैंडिडेट और पेपर लीक से बचने के लिए बोर्ड ने कई कदम उठाए हैं। डमी कैंडिडेट की रोकथाम को लेकर परीक्षार्थियों की बायोमेट्रिक उपस्थिति दर्ज करने के साथ फेस स्कैन भी किया जा रहा है। पेपर लीक से बचने के लिए अलग अलग प्रिंटिग प्रेस से अलग अलग सेट बनवाना, परीक्षा केन्द्र को परीक्षा शुरू होने से एक घंटे पहले बंद करना, वीडियोग्राफी, परीक्षा कक्ष में सीसीटीवी लगाने समेत विभिन्न उपाय किए गए हैं।

टेबलेट बेस परीक्षा को लेकर की जा रही है कवायद

उन्होने बताया कि कर्मचारी चयन बोर्ड भविष्य में सरकारी सेंटर पर टेबलेट बेस परीक्षा आयोजित करने की कवायद में जुटा है। इसको लेकर आईआईटी कानपुर और आईआईटी मद्रास के सहयोग से परीक्षण किया जा रहा है। इसको लेकर पहले एक परीक्षण सफल नहीं हुआ लेकिन अब दोबारा परीक्षण किया जा रहा है ताकि बिना पेपर लीक हुए परीक्षा को संपन्न करवाया जा सके।

उन्होने बताया कि जल्द ही बोर्ड सरकारी केंद्रों पर टेबलेट बेस परीक्षा आयोजित करने में सफल होगा। बोर्ड 1 लाख परीक्षार्थी की संख्या वाले पेपर टेबलेट बेस करवाने की कवायद में जुटा है। श्री राज ने बताया कि अगर परीक्षा कंप्यूटर या टेबलेट बेस आयोजित की जाएगी तो पेपर लीक की समस्या ही खत्म हो जाएगी।

इससे पहले श्री राज ने बैठक में संबंधित अधिकारियों के साथ परीक्षा आयोजन को लेकर ध्यान रखने योग्य बिंदुओं पर विस्तृत चर्चा कर दिशा निर्देशित किया। साथ ही कहा कि पेपर लीक को लेकर बनाए गए नए कानूनों के बारे में भी सभी जानकारी होनी चाहिए। इसमें पेपर लीक में दोषी पाए जाने पर 10 लाख से 10 करोड़ तक का जुर्माना और 10 साल से आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान किया गया है।

बैठक में एडीएम सिटी रमेश देव, एडिशनल एसपी सौरभ तिवाड़ी, टीओ धीरज जोशी, श्री डूंगर कॉलेज प्रिंसिपल डॉ राजेन्द्र पुरोहित, महारानी कॉलेज प्रिंसिपल डॉ नवदीप बैंस, एडीईओ शिव शंकर चौहान, प्रशासनिक अधिकारी संजय पुरोहित समेत विभिन्न सरकारी और निजी स्कूलों के प्रिंसिपल, ऑब्जर्वर्स, कंट्रोल रूम प्रभारी, लेखा विभाग के कार्मिक उपस्थित रहे।

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